ये ब्रिज है या बीरबल की खिचड़ी ! देवास के मेंडकी रोड रेलवे क्रॉसिंग पर 2018 से बन रहा ब्रिज !
- 711.50 मीटर, ब्रिज की लंबाई
- 2244.60 लाख, अनुमानित लागत
- 1615 लाख, ठेके की लागत
- 23.04.2018 निर्माण शुरू होने की तारीख
- कार्य पूर्ण कब होगा, पता नहीं
दीपक विश्वकर्मा, देवास।
देवास शहर की एक बड़ी आबादी रेलवे लाइन के पार, मतलब राजाराम नगर, मुखर्जी नगर, अलकापुरी, विजयनगर, चाणक्यपुरी सहित अन्य कालोनियों में रहती है। इन कालोनियों के अलावा दर्जनभर ऐसे गांव, जहां के रहवासी प्रतिदिन अपनी दैनिक जरूरतों के लिए देवास पर निर्भर रहते हैं। यह सभी मेंडकी रोड से देवास आते हैं। इनके आवागमन को आसान करने के लिए मेंडकी रोड रेलवे क्रॉसिंग पर रेल ओवरब्रिज बनने की शुरुआत अप्रैल 2018 से हुई थी। इस काम को पूरा करने के लिए फरवरी 2020 तक का समय तय किया गया था। हालात ऐसे हैं कि 2020 निकला और अब 2021 भी आधा निकल गया, लेकिन इस रेल ओवर ब्रिज का काम है कि पूरा ही नहीं हो रहा। हद तो यह है कि फिलहाल यहां काम बंद पड़ा है। सिर्फ रेलवे के हिस्से में ही काम जारी है। बाकी पटरी के दोनों और का काम बंद है। आसपास के रहवासियों ने यहां तक जानकारी दी कि ठेकेदार फर्म के लेबर यहां से जा चुके हैं। साथ ही यहां निर्माण कार्य के लिए रखी सीमेंट भी बड़े-बड़े ट्रकों में भरकर ले जा चुकी है। अब अधिकारी भुगतान रुकने और कोरोना का बहाना बना रहे हैं, जबकि इस ब्रिज के काम को कोरोना आने के पहले मतलब 2020 के फरवरी माह तक पूरा हो जाना चाहिए था। खैर यह काम तो पूरा नहीं हो पाया, लेकिन अभी भी इस पूरे साल इस काम के पूरा होने की उम्मीद ना के बराबर दिखाई देती है। अधूरे पड़े ब्रिज के कारण पटरी पार रहने वाली एक बड़ी आबादी भारी परेशानी पिछले करीब 3 साल से झेल रही है। इन 3 सालों में लोग कई बार मुखर हुए, लेकिन उसका कोई फायदा नहीं हुआ। हालात ऐसे हैं कि पटरी पार जाने के लिए चाणक्यपुरी रेलवे क्रॉसिंग से होकर कॉलोनी के अंदर हजारों बड़े- छोटे वाहन गुजरते हैं, जिनसे यहां रहने वाले लोग खासे परेशान हैं।
ब्रिज का काम बंद होने का कारण पूछने पर लोक निर्माण विभाग सेतु निर्माण संभाग के अधिकारी एसके अग्रवाल ने ठेकेदार का पेमेंट रुकना कारण बताया। साथ ही कोरोना के कारण लेबर के चले जाने को भी काम रुकने का कारण अधिकारी बता रहे हैं। ब्रिज का काम रुकना अपनी जगह है, लेकिन इसके दोनों और जिन सीमेंट कांक्रीट सड़कों का निर्माण किया गया है, उसकी गुणवत्ता भी संदेह के घेरे में है। दरअसल अभी ब्रिज का काम आधा अधूरा ही है और सीमेंट कांक्रीट रोड से गिट्टी बाहर झांकने लगी है। कुछ स्थानों पर सीसी रोड में गड्ढे भी हो गए हैं। इस मामले में लोक निर्माण विभाग सेतु निर्माण संभाग के अधिकारी का कहना है कि यदि काम गुणवत्तापूर्ण नहीं है, तो उसे ठीक करवाया जाएगा। फिलहाल यह मेरी जानकारी में नहीं था। अब सवाल यह उठता है कि इतने लंबे समय से बन रहे ब्रिज और इसके दोनों छोर पर बनी सीसी रोड का निरीक्षण कब किया गया था? क्या इन सड़कों की गुणवत्ता या इस ब्रिज के निर्माण की सुस्त रफ्तार पर कोई सवाल किए गए? यदि सवाल किए गए, तो सुधार क्या हुआ? मामले में शहर कांग्रेस अध्यक्ष मनोज राजानी ने स्थानीय जनप्रतिनिधियों की मंशा पर सवाल खड़े किए। श्री राजानी ने कहा कि शहर में मेंडकी रोड ओवर ब्रिज सबसे महत्वपूर्ण काम था, जिसकी सुस्त रफ्तार के कारण हजारों लोग रोजाना परेशान होते हैं। इस काम को पूरा करने के लिए जनप्रतिनिधियों ने ध्यान देने के बजाय नए ब्रिज तेज गति से बनाने शुरू करवाए। देवास के जनप्रतिनिधियों को चाहिए कि इस तरफ के लोगों की तत्काल सुध ले और जल्द से जल्द इस ब्रिज का गुणवत्तापूर्ण निर्माण पूर्ण करवाएं।
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